Vikas Ki Prakriya
Vikas Ki Prakriya
Julian Huxley
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‘विकास की प्रक्रिया’ पुस्तक में लेखक ने विकास के पूरे प्रक्रम का एक तरह का नक्शा प्रस्तुत किया है। लेखक का कहना है कि यह एक असंभव कार्य था, और यह काम इस तरह करने में निश्चित ही मुझे बहुत कठिनाई हुई है। मुझे बहुत से प्रमाण, विश्लेषण और तर्क छोड़ देने पड़े हैं। किन्तु अगर मैं आपको विकास के प्रक्रम की एकता की कुछ अनुभूति करा सका हूँ, उसकी मोटी-मोटी प्रवृत्तियाँ बता सका हूँ, उसके पीछे जो सामान्य शक्तियाँ काम कर रही हैं उनको कुछ समझा सकूँ: इसके अतिरिक्त अगर मेैं आपको विकास के उस आत्मरूपान्तरकारी प्रक्रम में, जो लगातार नए प्रतिमान और नए गुण उत्पन्न करता रहता है, अपने भविष्य को बनाने के लिए अतीत के आगे जाता है, कुछ अन्तर्दृष्टि देने में सहायक हो सका हूँ तो प्रमाण, विश्लेषण इत्यादि को छोड़ देने का कोई महत्त्व नही है। पुस्तक में विकास प्रक्रम के अतिरिक्त प्राकृतिक वरण कैसे कार्य करता है, जैविक सुधार, मानसिक क्रिया का परिवर्धन, जैविक प्रगति का मार्ग तथा मानवीय पक्षों सम्बंधी जानकारी सरल, सुबोध भाषा में दी गई है।
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Binding
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Hard Cover
Author
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Julian Huxley
